बर्फियालाल जुवंण्ठा उपजिलाचिकत्सालय पुरोला में डॉक्टर क्यों लम्बे समय तक नहीं रह पाते
पुरोला अस्पताल हमेशा रहा सुर्खियों में
कुछ शरारती तत्वों के कारण आमजनता को झेलना पड़ता है खामियाजा
दो डाक्टर छोड़कर चले गए दो और जाने की कर रहे हैं तैयारी
विधायक के अथक प्रयास से आये थे डाक्टर
पुरोला। बर्फियलाल जुवंण्ठा राजकीय उपजिलाचिकत्सालय रवांई घाटी का ऐसा अस्पताल है जिसमें प्रतिदिन सैकड़ों अस्वस्थ लोगों का इलाज होता है। सरकार के प्रतिनिधि ही नहीं आम जनता भी वहां पर डॉक्टरों की कमी को पूरा करने के लिए हर तरह से आंदोलन करते आये हैं।विधायक के अथक प्रयासों से भी अस्पताल का उच्चीकरण कर सभी तरह की सुविधाएं देने का प्रयास किया जा रहा है।लेकिन यक्ष प्रश्न यह है कि अस्पताल में डॉक्टर कुछ ही समय बाद वहां से छोड़कर चला जाता है।जिस कारण उसका दुप्रभाव आम जनता को झेलना पड़ता है।
स्वस्थ्यकर्मियों का कहना है कि लोगों का व्यवहार भी ठीक न होने के कारण मानसिक तनाव में रहना पड़ता है।जिस कारण सेवा नही हो पाती।डाक्टर रमेश आर्य का कहना है कि कुछ शरारती तत्वों के कारण भारी दिक्कतें आ रही है डॉक्टरों का बार बार मानसिक उत्पीड़न किया जा रहा है।
जिस कारण डाक्टर इस अस्पताल में रुकना ही नहीं चाहते।दो डाक्टर डॉ अंकिता रावत डॉ निधि असवाल पहले ही जा चुकी हैं ।डॉ आर्य का कहना है कि जल्दी ही ऐसी स्थिति रही तो कुछ और डॉक्टर भी यहाँ से जाने का मन बना चुके हैं।